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Wednesday, February 5, 2025
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कर्फ्यू के बावजूद भी बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर निकाले

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कर्फ्यू के बावजूद भी बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर निकल रहे हैं घंटाघर का यह नजारा है और यहां पर पुलिस ने बैरिकेड लगाकर वाहनों को रोका और आने जाने की वजह पूछी जा रही है बेवजह घर से निकलने वालों के ₹100 का चालान काटा जा रहा है।

गोपेश्वर। जोशीमठ से भीमतल्ला शादी समारोह में जा रही कार खाई में गिरी.. रेस्क्यू कार्य जारी

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गोपेश्वर। जोशीमठ से भीमतल्ला शादी समारोह में जा रहा वाहन पाखी के पास दुर्घटनाग्रस्त। दुर्घटना में 3 लोगों के शव निकाले अन्य 2 की खोजबीन में जुटा राहत बचाव दल।

राष्ट्रीय राजमार्ग  58 पाखी के पास  बड़ा हादसा स्विफ्ट डिजायर कार खाई में गिरी

5 लोग बताए जा रहे हैं

स्विफ्ट डिजायर में सवार देर रात की घटना
मौके पर रेस्क्यू कार्य जारी
बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर पाखी के पास की घटना

जो कहा सो किया बातो से नहीं धरातल पर काम करने मे विश्वास करती है भाजपा

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डा० भीमराव अम्बेडकर के जन्मदिवस के अवसर पर मा० मुख्यमंत्री ने मलिन बस्तियों के नियमितीकरण की घोषणा कर यह बात साबित कर दी है।

इस संबध में दास ने बताया कि वे बस्तिवासियों की पीड़ा भलिभाँति समझते हैं तथा उन्होनें बस्तियों के विनियमितिकरण की बात अपने चुनावी घोषणा पत्र में भी रखी थी और चुनाव जीतने के बाद से वे लगातार कभी विधानसभा प्रश्न लगाकर, कभी नियम 300 की सूचना के माध्यम से सदन का ध्यान आकर्षित कर सरकार से विनियमितिकरण की माँग करते चले आ रहे हैं जिसका परिणाम है कि अक्टूबर 2018 में सरकार ने तीन वर्ष के लिए अध्यादेश लाकर बस्तियों को बचाया यही नहीं हमारी सरकार ने बस्तियों पर टैक्स लगाकर बस्तिवासियों को आधा हक भी दे दिया है।

दास ने काग्रेस को आडे़ हाथो लेते हुए कहा कि काग्रेस को हर मुद्दे पर राजनीति नजर आती है और इसी का परिणाम है कि बर्ष 2016 में काग्रेस सरकार ने बड़े-बड़े होर्डिंग टाँगकर मलिन बस्तिवासियों को छला है ओर नियमितिकरण के नाम पर ऐसी नीति लाई जिससे मात्र 40-50 लोगो से अधिक को लाभ नही मिला होगा। उन्होनें स्पष्ट शब्दों में कहा कि प्रदेश में अतिथि तक 582 मलिन बस्तियां है जिसमें 129 बस्तियां को केवल देहरादून में ही है

इस अवसर पर श्री दास ने मुख्यमंत्री तीरथ सिंह जी रावत का दिल की गहराइयों से आभार जताया तथा कहा कि यशस्वी मा० मुख्यमंत्री रावत की विनियमितिकरण की घोषणा से प्रदेश मे बस्तियों रह रहे गरीब दलितो को जहाँ एक ओर इसका लाभ होगा वही दूसरी ओर देश के यशस्वी मा० प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के वर्ष 2022 तक हर परिवार को छत मुहैया कराने के लक्ष्य को भी बल मिलेगा।

राज्य में कोरोना संक्रमण के हालात चिंताजनक

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प्रदेश कांग्रेस उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने सौंपा डीजी हैल्थ को ज्ञापन
देहरादून: उत्तराखंड में कोविड19 संक्रमण के प्रकोप से लगातार गंभीर हो रही स्थितितियों से चिंतित कांग्रेस ने राज्य में जर्जर स्वास्थ्य सेवाओं को सुधारने की मांग को लेकर कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना के नेतृत्व में प्रदेश की स्वास्थ्य महानिदेशक डॉक्टर त्रिपुति बहुगुणा से मुलाकात कर उन्हें ज्ञापन सौंपते हुए तत्काल कार्यवाही की मांग की। धस्माना ने स्वास्थ्य महानिदेशिका डॉक्टर बहुगुणा से इस बात पर नाराजगी व्यक्त की कि जब देश के अन्य राज्यों से कोविड19 के संक्रमण की दूसरी तीसरी व चौथी लहर की खबरें आ रही थी तभी उत्तराखंड को दूसरी लहर की तैयारी करनी चाहिए थी जो कहीं नजर नहीं आ रही। उन्होंने कहा कि सरकारी हस्पतालों में तो बैड आईसीयू व वेंटिलेटर मरीजों को मिल नहीं पा रहे अब तो निजी हस्पतालों में भी बिस्तर आईसीयू व वेंटिलेटर नहीं मिल रहे और लगातार बढ़ रहे मरीजों से स्थितितियां नियंत्रण से बाहर हो रही है। धस्माना ने डीजी से पूछा कि क्या राज्य में लाइफ सेविंग इंजेक्शन की कोई मोनिटरिंग की व्यवस्था है क्योंकि दो दिनों से अब जीवन रक्षक इंजेक्शन रेमिडिसेर उपलब्ध नहीं हो पा रहा और इस इंजेक्शन के बाज़ार से गायब होने व कई गुना दामों में काला बाज़ार में मिलने की शिकायत आ रही हैं। उन्होंने डीजी से कहा कि यह जीवन रक्षक इंजेक्शन की काला बाजारी करने वालों के विरुद्ध कठोर कार्यवाही करनी चाहिए। श्री धस्माना ने डीजी से कहा कि कोविड19 समर्पित हस्ताल तत्काल घोषित किया जाना चाहिए व निजी हस्पतालों के लिए कम से कम टैरिफ में प्रति दिन के हिसाब से किराया सरकार को तय कर देना चाहिए जिसके भुगतान का एक बड़ा अंश राज्य सरकार को मुख्यमंत्री राहत कोष में से देना चाहिए।
धस्माना ने डीजी से कहा कि अगर शीघ्र व्यवस्थाएं ठीक नहीं हुई तो कांग्रेस को मजबूरी में जन स्वास्थ्य के लिए आंदोलन शुरू करना पड़ेगा। ज्ञापन देने वालों में कांग्रेस नेता ललित भद्री व महेश जोशी शामिल रहे।

बिना मास्क पहने घूमने वाले व्यक्तियों के विरुद्ध की कार्यवाही का विवरण

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वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक महोदय जनपद देहरादून के निर्देशानुसार कोरोना वायरस महामारी के तहत भारत सरकार द्वारा जारी एडवाइजरी में दिए गए निर्देशों का कड़ाई से अनुपालन कराए जाने हेतु पुलिस अधीक्षक नगर/ ग्रामीण के पर्यवेक्षण में जनपद के नगर व देहात क्षेत्र में पुलिस द्वारा नियमित रूप से अभियान चलाया जा रहा है, जिसके क्रम में आज दिनाँक 14/04/21 को बिना मास्क पहने घूमने वाले व्यक्तियों के विरुद्ध की गई कार्यवाही का विवरण निम्नवत है।

*थाना कोतवाली नगर*
कुल चालान- 87
बिना मास्क : 34
सोशल डिस्टेंस: – 53
कुल संयोजन शुल्क -12100/- ₹

*थाना पटेलनगर*
कुल चालान- 25
बिना मास्क : 25
सोशल डिस्टेंस: –

कुल संयोजन शुल्क -5000 /- ₹

*थाना डालनवाला*
कुल चालान- 15
बिना मास्क : 14
सोशल डिस्टेंस:- 01
कुल संयोजन शुल्क-2900/- ₹

*थाना कैंट*
कुल चालान- 130
बिना मास्क : 129
सोशल डिस्टेंस: – 01
कुल संयोजन शुल्क-23100/- ₹

*थाना वसंत विहार*
कुल चालान- 45
बिना मास्क :
सोशल डिस्टेंस: – 45
कुल संयोजन शुल्क-4500/- ₹

*थाना प्रेम नगर*
कुल चालान- 30
बिना मास्क : 01
सोशल डिस्टेंस: – 29
कुल संयोजन शुल्क-3100/- ₹

*थाना नेहरू कॉलोनी*
कुल चालान- 94
बिना मास्क : 13
सोशल डिस्टेंस: – 81
कुल संयोजन शुल्क-10700/- ₹

*थाना रायपुर*
कुल चालान- 135
बिना मास्क : 108
सोशल डिस्टेंस: – 27
कुल संयोजन शुल्क-24300/- ₹

*थाना क्लेमेनटाउन*
कुल चालान- 23
बिना मास्क : 17
सोशल डिस्टेंस: – 06
कुल संयोजन शुल्क-4000/- ₹

*थाना मसूरी*
कुल चालान- 70
बिना मास्क : 60
सोशल डिस्टेंस: – 10
कुल संयोजन शुल्क-13000/- ₹

*थाना राजपुर*
कुल चालान- 20
बिना मास्क : 20
सोशल डिस्टेंस: –
कुल संयोजन शुल्क-4000/- ₹

*थाना ऋषिकेश*
कुल चालान-72
बिना मास्क : 49
सोशल डिस्टेंस: – 23
कुल संयोजन शुल्क-12100/- ₹

*थाना डोईवाला*
कुल चालान- 63
बिना मास्क : 41
सोशल डिस्टेंस: – 12
कुल संयोजन शुल्क-9400/- ₹

*थाना रानीपोखरी*
कुल चालान- 42
बिना मास्क : 42
सोशल डिस्टेंस: –
कुल संयोजन शुल्क-6000 /- ₹

*थाना विकासनगर*
कुल चालान- 22
बिना मास्क : 20
सोशल डिस्टेंस: – 02
कुल संयोजन शुल्क-4200/- ₹

*थाना सहसपुर*

कुल चालान- 51
बिना मास्क : 51
सोशल डिस्टेंस: –
कुल संयोजन शुल्क-10200/- ₹

*थाना सेलाकुई*
कुल चालान- 21
बिना मास्क : 11
सोशल डिस्टेंस: – 10
कुल संयोजन शुल्क-3200/- ₹

*थाना रायवाला*
कुल चालान- 55
बिना मास्क : 37
सोशल डिस्टेंस: – 18
कुल संयोजन शुल्क-9200/- ₹

*थाना चकराता*
कुल चालान- 04
बिना मास्क : 04
सोशल डिस्टेंस: –
कुल संयोजन शुल्क-800/- ₹

*थाना कालसी*
कुल चालान- 15
बिना मास्क : 15
सोशल डिस्टेंस: –
कुल संयोजन शुल्क-3000/- ₹

*आज किए गए कुल चालान -1009*
*बिना मास्क : 663*
*सोशल डिस्टेंस : 346*
*कुल संयोजन शुल्क:- 1,64,800/- ₹*

*नोट :- उक्त सूचना साँय : 19:30 बजे तक की है।*

कुम्भ मेला पुलिस ने पेश की कोरोना संक्रमण से बचाव की अनुकरणीय मिसाल

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कुम्भ मेला पुलिस ने पेश की कोविड गाइड लाइंस के अनुपालन और कोरोना संक्रमण से बचाव की अनुकरणीय मिसाल।

कुम्भ मेला 2021 में उत्तराखंड पुलिस के साथ-साथ, पीएसी, अर्धसैनिक बलों, होमगार्ड, पीआरडी, संचार, घुड़सवार, जीआरपी, अभिसूचना, अग्निशमन और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों सहित लगभग 15 हजार अधिकारी/कर्मचारियों के द्वारा ड्यूटी की गई। कोरोना काल मे होने वाला यह विश्व का सबसे बड़ा आयोजन था, जिसे कराना अपने आप मे एक नई और अकल्पनीय चुनौती था। मेले के दौरान लाखों-करोड़ों की भीड़ में स्वयं को कोरोना संक्रमण से बचाते हुए आने वाले श्रद्धालुओं को सुरक्षित और संक्रमण मुक्त स्नान करवाना समझ से परे था।

लेकिन जहाँ चाह वहां राह बन ही जाती है, कुम्भ मेला ड्यूटी में आने वाले अधिकांस अधिकारी और जवान इसे सामान्य मेला ड्यूटी न मानते हुए गंगा माँ की सेवा करने का अवसर समझ कर हरिद्वार आये थे। कुम्भ पुलिस के उच्चाधिकारियों को पहले ही समझ मे आ चुका था कि यदि कुम्भ मेला सकुशल सम्पन्न कराना है तो मेला ड्यूटी में लगे पुलिस बल का कोरोना से बचे रहना अतिआवश्यक है। एक छोटी सी भी चूक बड़ी त्रासदी का कारण बन सकती थी।

इसलिए कुम्भ मेला पुलिस के उच्चाधिकारियों के द्वारा सर्वप्रथम एक पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारी को कोरोना सम्बंधित मामलों का नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया, जिसका काम ड्यूटी हेतु आने वाले समस्त पुलिस बल का सबसे पहले RTPCR टेस्ट करवाना, केंद्र और राज्य के द्वारा जारी SOP का अनुपालन करवाना और कोरोना संक्रमित पुलिस के जवानों के उपचार और देखभाल की उत्तम व्यवस्था कराना।

इसके अलावा कुम्भ ड्यूटी हेतु आये समस्त पुलिस बल को ततपरता दिखाते हुए कोरोना वैक्सीन की दोनो डोज भी समय से लगवा दी गई। बाकी जब भी कुम्भ का कोई स्नान सम्पन्न होता था तो उसके तुरंत बाद ही ड्यूटी में लगे समस्त पुलिस बल का RTPCR टेस्ट कराया जाता ताकि ड्यूटी के दौरान हुए संक्रमण का समय रहते पता लग सके।

इन सभी उठाये गए कदमो और कोरोना संक्रमण के विरुद्ध पालन किये गए सख्त अनुशासन का ही परिणाम रहा कि पूरी कुम्भ अवधि के दौरान लगभग 15 हजार पुलिसकर्मियों के विशालकाय बेड़े में से मात्र 20 पुलिस कर्मी ही कोरोना संक्रमित हो पाए। इन 20 पुलिसकर्मियों में से भी अधिकांशतः पुलिसकर्मी सही उपचार और देखभाल के चलते ठीक हो चुके हैं।

इस प्रकार कुम्भ मेला पुलिस के द्वारा कोरोना के विरुद्ध अपनी दृढ़ संकल्प शक्ति और विभागीय अनुशासन के बलबूते न सिर्फ अपने आपको कोरोना संक्रमण से बचाया गया बल्कि ड्यूटी के दौरान लगातार आम श्रद्धालुओं से भी कोरोना से सम्बंधित आचरण का पालन करवाया गया।

टूट गया 14 अप्रैल का श्रापित मिथक, बैशाखी का शाही स्नान हुआ सकुशल सम्पन्न

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सदैव ही महाकुम्भ का बैशाखी स्नान विवादों में ओर मिथक से भरा रहा है, इतिहास में ऐसा कभी नही हुआ कि बैशाखी पर्व बिना किसी विवाद, दुर्घटना अथवा रंजिश पूर्ण घटनाओं से परे रहा हो।यदि हम आजादी के बाद प्रथम कुम्भ जो 1950 में सम्पन्न हुआ को देखे तो जानकारी मिलती है कि बैसाखी पर्व 14 अप्रेल के शाही स्नान में हरकीपेडी में बेरियर टूटने से *लगभग 50 से 60 श्रद्धालुओं* की मृत्यु हुई थी। *वही1986 के महाकुम्भ में बैशाखी पर्व में भीड़ के दवाब बढ़ने से 50 से 52 भक्त असमय ही काल ग्रसित* हो गए थे।

वर्ष 1998 का कुम्भ भी इस बुरी छाया से दूर न रह सका इस महाकुम्भ के 14 अप्रेल के शाही स्नान पर भी श्रापित छाया नजर आती है जब दो बड़े अखाड़ो के आपसी विवाद और लड़ाई से शाही स्नान बाधित हो गया, जबकि 2010 के बैशाखी पर्व शाही स्नान पर दुर्घटना में 07 व्यक्तियों की मृत्यु हो गयी थी।

इस प्रकार हम देखते हैं कि आजादी के पश्चात महाकुम्भ के बैशाखी पर्व के शाही स्नान सदैव श्रापित रहा है पूर्व में निर्मल अखाड़ो का शाही स्नान समय सामंजस्य सही न होने के कारण अंधेरे में सम्पन्न होता था जबकि इस महाकुम्भ में सभी शाही स्नान न वरन समय से पूर्ण हुए बल्कि आम श्रद्धालुओं को भी हरकीपेडी में स्नान का सौभाग्य प्राप्त हुआ। यह इतिहास का प्रथम स्नान है जिसमे सभी शाही स्नान में भव्य पुष्प वर्षा हेलीकॉप्टर के माध्यम से हुई है। साथ ही महाकुम्भ के सभी स्नान विवादरहित रहे और आम जनता में आकर्षक का केंद्र भी क्योकि पूर्व इतिहास में हम नजर डालते हैं तो पाते हैं कि पूर्व में शाही अखाड़ो के जुलूस इतने विराट और भव्य नही होते थे न ही इतनी अधिक संख्या में शाही रथ ओर वाहन इस्तेमाल होते हैं इस महाकुम्भ में कुछ शाही अखाड़ों ने रिकॉर्ड 1100 से 1157 शाही वाहन अपने शाही स्नान जुलूस में इस्तेमाल किये किन्तु *आई जी कुम्भ श्री संजय गुंज्याल* द्वारा तैयार अचूक रणनीति से कहीं भी कोई अप्रिय घटना नही हुई।

कुम्भ मेला पुलिस ने श्रद्धालुओं को खिलाया खाना, बांटे मास्क बिस्किट, ओर ग्लूकोज पानी

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मानव सेवा ही अध्यात्म का प्रतिफल है दया प्रेम करुणा ओर उदारता सेवा के अलंकार है खाकी जिसका यह पक्ष सदैव ही आम जन से छुपा है खाकी को लोग कठोर ह्रदय समझ व्यवहार में लाते हैं किंतु ऐसा कहना न्यायसंगत नही है खाकी द्वारा समय समय पर कर्तव्य निर्वहन के साथ ही मानवीय कार्यों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है महाकुम्भ जिसका मूल ही मानव सेवा , त्याग दान और उदारता की सीढ़ियों पर हैं कुम्भ मेला पुलिस द्वारा अनेक प्रशंसनीय ओर सराहनीय किये जा रहे है फिर चाहे वो बिछुडो को मिलाने की कोशिश हो या सामान खोने पर वापसी की, श्रद्धलुओं को गोदी में उठा कर स्नान कराना हो या भटकों को राह दिखाने की, सभी जगह कुम्भ मेला पुलिस के अपनी मानवीय छवि से भक्तों का मन मोह रही है

नया मामला लाल जी वाला के इंस्पेक्टर होशियार सिंह पंखोली से जुड़ा हुआ है जिन्होंने अपने क्षेत्र में मां गंगा के भक्तों को अपने हिस्से से खाना खिलाया, जब भक्त और आ गए तो इंस्पेक्टर ने सभी के लिए स्वयं के खर्चे से भोजन बनवाया ओर दुवाएँ प्राप्त की,इसके साथ ही सेकड़ो भक्तो को गुलकोज पानी पिलाया ,बिस्कुट बंटवाए ओर मास्क वितरित किये।


कुम्भ मेला पुलिस के इंस्पेक्टर होशियार सिंह का कहना है कि उन्हें इन कामो से बड़ा सुकून मिलता है, श्री होशियार के द्वारा अनेक असहाय ओर गरीब लोगों की मदद की है श्रद्धालुओ के द्वारा इस कार्य की जमकर तारीफ की जा रही है आज एक अन्य घटना में vip घाट में एक कबूतर को कौओ द्वारा घायल किये जाने पर भी होशियार सिंह द्वारा कबूतर की मफहम पट्टी की ओर डॉक्टर को बुलाया। अभी हाल में ही एक कुष्ट रोग से पीड़ित व्यक्ति को गोदी में उठाकर ले जाती फोटो वायरल हुई थी।।

वही चंडीघाट कुम्भ थाने की एक अन्य घटना में एक नेपाली परिवार को रुपयों से भरा बैग गायब हो गया जिसके बाद उनके समक्ष नेपाल वापसी जाने की समस्या पैदा हो गयी।जिस पर कुम्भ मेला पुलिस थाने के जवानों के द्वारा 08 हजार रुपया इकठ्ठा करके परिवार को दिए और उन्हें टनकपुर की गाड़ी में बिठाया।

रुद्रप्रयाग में आल्टो कार दुर्घटनाग्रस्त, 03 लोगो की मृत्यु

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आज दिनाँक 14 अप्रैल को DCR रूद्रप्रयाग द्वार SDRF को सूचना दी गयी कि खाकरा, नोगांव एक पास एक वाहन अनियंत्रित होने से लगभग 500 मीटर गहरी खाई में दुर्घटनाग्रस्त हो गया हैं।

उक्त सूचना पर SDRF रेस्क्यू टीम तत्काल घटनास्थल के लिए रवाना हुई।

घटनास्थल पर एक आल्टो कार (UK13A 8841) 500 मीटर गहरी खाई में दुर्घटनाग्रस्त हुआ था, जिसमे 3 लोग सवार थे। तीनो व्यक्तियों की घटनास्थल पर ही मृत्यु हो गयी थी।

टीम द्वारा गहरी खाई में उतरकर उक्त तीनों व्यक्तियों के शवों को मुख्य मार्ग तक पहुँचाकर सिविल पुलिस के सुपर्द किया गया।
मृतकों का विवरण:-
1- सूरज लाल पुत्र उद्दिलाल उम्र 25 वर्ष निवासी ग्राम अमसारी जनपद रुद्रप्रयाग।
2-लक्की पुत्र जयपाल उम्र 16 वर्ष निवासी अमसारी रुद्रप्रयाग।
3-अंकित पुत्र सुरेश लाल निवासी अमसारी रुद्रप्रयाग |

हुक्का बरो पैर कसा सिकंजा

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पुलिस उपमहानिरीक्षक गढ़वाल रेंज महोदया द्वारा रेंज के समस्त SSP/SP को जनपदों में संचालित हुक्काबार संचालको द्वारा अपने हुक्काबार में अवैध रुप से मादक पदार्थों एवं शराब का सेवन कराने के सम्बन्ध में ऐसे संचालको के विरुद्ध सुसंगत धाराओं में अभियोग पंजीकृत करने हेतु निर्देशित किया गया।

डी0आई0जी0 महोदया द्वारा रेंज के समस्त जनपद प्रभारियों को निर्देशित किया गया कि, अपने-अपने जनपदों में संचालित हुक्काबार संचालको द्वारा लाईसेन्स की शर्तो के विपरीत हुक्काबार में अवैध रुप से मादक पदार्थों एवं शराब का सेवन कराये जाने के अतिरिक्त होटल एवं रेस्टोरेंट की आड़ में बिना लाईसेंस हुक्काबार/मादक पदार्थो का सेवन होने की शिकायत पर पुलिस द्वारा मात्र पुलिस अधिनियम के तहत संचालक/मालिको के विरूद्ध सूक्ष्म कार्यवाही की जाती है।

लाईसेंसी शर्तो का उल्लघंन करके अवैध रुप से संचालित होने वाले ऐसे हुक्काबार संचालको एवं होटल/रेस्टोरेंट मालिको के विरुद्ध सुसंगत धाराओं में अभियोग पंजीकृत कर कड़ी कार्यवाही की जाय।